अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

क्या केरल में रोज बारिश होती है?

केरल में साल भर बारिश नहीं होती है। इस राज्य में दो बार मानसून आता है। दक्षिण-पश्चिम मानसून, जून में आता है जिसे स्थानीय रूप से इडवप्पाती के नाम से जाना जाता है, जिसका नाम मलयालम कैलेंडर के इडवम महीने (मई-जून) के नाम पर रखा गया है।

साल के अंत में, अक्टूबर के मध्य में उत्तर-पूर्वी मानसून आता है। इसे तुलावर्षम या "तुलाम में बारिश" के नाम से जाना जाता है। इस वर्षा ऋतु का नाम तुलाम नामक मलयालम महीने के नाम पर रखा गया है। इन दो वर्षा ऋतुओं के बीच में, केरल का माहौल आनंददायक और शांत रहता है। हिल स्टेशनों में साल भर ठंड रहती है, जबकि मैदानी और तटीय क्षेत्रों का मौसम गर्म और आर्द्र रहता है। दक्षिण-पश्चिम मानसून में आमतौर पर खूब बारिश होती है, जिससे पर्यटकों के लिए यह केरल के आश्चर्यजनक स्थलों में घूमने के लिए एकदम सही माहौल बन जाता है क्योंकि इस समय बहुत ज्यादा गर्मी या प्रतिकूल मौसम की परेशानी नहीं होती है। जो लोग मानसून का आनंद लेना चाहते हैं, वे केरल में किफायती मानसून पर्यटन पैकेज का लाभ उठा सकते हैं।

हालांकि, हाल के वर्षों में, राज्य को जलवायु परिवर्तन से जुड़े अप्रत्याशित मौसम पद्धतियों का सामना करना पड़ रहा है। दक्षिण-पश्चिम मानसून के दौरान अनियमित रूप से बारिश होने के बाद कभी-कभी भारी बारिश हो जाती है जिससे अचानक बाढ़ आ जाती है और अन्य प्रतिकूल मौसमी घटनाओं का सामना करना पड़ता है।

यदि आप मानसून की ऋतु में यहाँ आने की सोच रहे हैं, तो केरल की बारिश की मनमोहक सुंदरता का भरपूर आनंद उठाने के लिए अपने साथ छाता, रेनकोट और वाटरप्रूफ जूते जैसी आवश्यक चीजें जरूर लाएं।